भैंसरोड़गढ़ – चित्तौड़गढ़
- भैंसरोड़गढ़ दुर्ग अरावली पर्वतमाला की एक विशाल घाटी या पर्वतीय खोह के मध्य पर्वत शिखर के अन्तिम छोर पर भैंसरोड़गढ़ में स्थित है।
- यह दुर्ग चम्बल एवं बामनी नदियों के संगम स्थल पर बना हुआ है। इस कारण यह जल दुर्ग की श्रेणी में गिना जाता है।
- इस दुर्ग के निर्माण के बारे में जनश्रुति है कि यह विक्रम की द्वितीय शती में बना। इतिहासकार कर्नल टॉड ने इस संबंध में जनश्रुति के आधार पर लिखा है कि इस दुर्ग का निर्माण भैंसाशाह नामक व्यापारी ने तथा रोड़ा चारण ने पर्वतीय लुटेरों से अपने व्यापारिक काफिले की रक्षार्थ करवाया था ताकि वर्षाकाल में जब उनकी ‘बालद‘ यहां पड़ाव ले तो यह दुर्ग उनका आश्रयस्थल बन सके।
- कर्नल टॉड के अनुसार भैंसरोड़गढ़ पर अलाउद्दीन खिलजी ने भी जोरदार आक्रमण किया तथा इस दुर्ग को तहस-नहस कर दिया था।
- भैंसरोड़गढ़ का किला अपने ढंग का एक निराला दुर्ग है जिसे राजस्थान का वेल्लोर कहा जाता है।